पुलिस की मुस्तैदी से झाबुआ बस स्टैंड पर टली बड़ी वारदात
8 बार लट्ठ लगने से टूटा व्यवसाई का हाथ, और भयानक हो सकती थी हिंसा
घटना 30 मई की है जब शाम 7:45 पर बस स्टैंड छत्री चौक पर दहशत का वातावरण बन गया।
गन्ने के रस की गाड़ी लगाने वाले गोला छोटी गांव के लोगों एवं ‘कांछा प्वाइंट’ के नाम से चाइनीस फास्ट फूड का हाथ ठेला लगाने वाले नेपाली परिवार के बीच हिंसक झड़प हो गई।
झड़प में लट्ठ के लगातार प्रहारों से कांच प्वाइंट पर चाइनीज फूड बनने वाले भाविक सोनी के बाएं हाथ की हड्डी टूट गई। लेकिन 5 मिनट के अंदर अंदर ही झाबुआ टी आई राजू बघेल के साथ अन्य पुलिसकर्मियों के आ जाने से संभावित बड़ी घटना टल गई। छत्री चौक बस स्टैंड पर हुई इस वारदात के चलते तत्काल सैकड़ो लोगों की भीड़ जमा हो गई, कुछ देर के लिए दहशत का वातावरण निर्मित हो गया।
कैसे हुई झगड़े की शुरुआत
दरअसल थांदला से झाबुआ व्यवसाय करने आए एक युवक द्वारा सैंडविच एवं चाइनीज फूड की अपनी नई हाथ ठेला गाड़ी जबरन 12 वर्षों से लग रही अन्य हाथ ठेला गाड़ियों के बीच लगा दी गई। विरोध पर बताया कि निजी बैंक से जुड़े वरिष्ठ पदाधिकारी के आदेश पर गाड़ी लगाई है। इस पर कांछा पॉइंट परिवार के लक्ष्मण सिंह ठाकुर ने युवक को इस स्थान से गाड़ी हटाकर रोड के दूसरी तरफ एक अन्य स्थान पर लगाने की बात कही।
यह नया स्थान हाथ ठेला व्यवसाई रोशन एवं गन्ने के रस की गाड़ी लगाने वाले अनिल डामोर के ठेले के बीच जनपद पंचायत के बाहर था। लेकिन यहां पर पहले से लगी इन हाथ ठेला गाड़ी वालों ने अपना विरोध दर्ज किया। इसके चलते पहले कांछा पॉइंट पक्ष की तरफ रोशन के साथ मारपीट की गई। इसी मारपीट के कारण और जबरन गाड़ी बीच में लगवाने की बात को लेकर तीन दिन बाद गन्ने के रस वाले अनिल डामोर के छोटे भाई अमन डामोर द्वारा 30 मई को कांछा पॉइंट के कर्मचारियों पर लट्ठा भांजे गए।
परिणाम स्वरूप पुलिस अधीक्षक पद्मविलोचन शुक्ल के निर्देशन में टी आई राजू बघेल द्वारा दोनों पक्षों पर सख्त धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई, एवं दोनों पक्ष के अपराधियों को जेल भेज दिया गया।
गौरतलब है कि कांछा पॉइंट पक्ष की ओर से लक्ष्मण सिंह ठाकुर एवं उनके साथी थावरिया डामोर को भांजगणी के आरोप में जेल भेजा गया। वहीं लाठियां भांजने के आरोप में अमन डामोर निवासी गोला छोटी को जेल भेज दिया गया।
नवागत पुलिस कप्तान की कठोर कार्यवाही से अपराधियों में डर
कुछ समय पहले आचार संहिता के दौरान गाड़ी आमने-सामने हो जाने से शुरू हुए मामूली विवाद में सांप्रदायिक झड़प का रूप ले लिया। देखते ही देखते राजवाड़े पर दूसरे पक्ष के 200 लोग एकत्रित हो गए एवं तनावपूर्ण माहौल निर्मित हो गया। हुडा मोहल्ला निवासी 10 से अधिक योवकों द्वारा राजवाड़ा क्षेत्र में मारपीट की घटना को अंजाम दिया गया था। मामले में पुलिस अधीक्षक के निर्देशन में टी आई राजू बघेल द्वारा निष्पक्ष एवं त्वरित कार्रवाई करते हुए नगर का सांप्रदायिक सौहार्द बिगड़ना वाले असामाजिक तत्वों पर सख्त कार्रवाई की गई।
बस स्टैंड छत्री चौक पर हर वक्त तैनात रहने वाले पुलिस जवानों की बदौलत मौजूदा 30 मई को हुई वारदात में केवल पुलिस की बदौलत बड़े पैमाने पर हिंसा होने से रूक पाई।
पुलिस द्वारा लगातार की जा रही कठोर कार्रवाई एवं उसके बाद अपराधियों को जेल भेजे जाने से खुलेआम मारपीट करने वाले असामाजिक तत्व अब खौफजदा हैं। कठोर कार्यवाही से जन सामान्य में कानून व्यवस्था को लेकर सकारात्मक संदेश गया है।